राष्ट्रभक्ति गीत (Patriotism Songs)
हम होंगे कामयाब
हम होंगे कामयाब एक दिन हम होंगे कामयाब।
हम होंगे कामयाब एक दिन........................।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
हम होंगे कामयाब एक दिन........................।
हम चलेंगे साथ - साथ , डाल हाथों में हाथ
हम चलेंगे साथ - साथ एक दिन ...............।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
हम चलेंगे साथ - साथ एक दिन ...............।
नहीं डर किसी आ आज , नहीं डर किसी का आज
नहीं डर किसी का आज के दिन...................।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
नहीं डर किसी का आज के दिन...................।
होगी शांति चारों ओर , होगी शांति चारों ओर
होगी शांति चारों ओर एक दिन ..................।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
होगी शांति चारों ओर एक दिन ..................।
होगी शिक्षा सबके पास , होगी शिक्षा सबके पास।
होगी शिक्षा सबके पास , एक दिन ................।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
होगी शिक्षा सबके पास , एक दिन ................।
होंगे पेड़ चारों ओर , होंगे पेड़ चारों ओर।
होंगे पेड़ चारों ओर एक दिन............................।
ओहो , मन में है विश्वास , पूरा है विश्वास
होगी शिक्षा सबके पास , एक दिन ................।
हम होंगे कामयाब एक दिन हम होंगे कामयाब।
हम होंगे कामयाब एक दिन........................।
ये भी पढ़ें
राष्ट्रभक्ति गीत भाग - 1हमारा - तुम्हारा वतन एक ही है
हमारा - तुम्हारा वतन एक ही है
सजन एक ही है , भजन एक ही है।
धरा का बिछौना , दिशाओं का घेरा ,
वही रात - दिन का उजाला - अंधेरा ,
गगन एक ही है पवन एक ही है ,
हमारा - तुम्हारा वतन एक ही है।
ये नदियाँ , ये पर्वत , शिखर ऊँचे - नीचे ,
ये रेती , ये खेती , ये जंगल - बगीचे ,
चमन एक ही है , वतन एक ही है ,
हमारा - तुम्हारा वतन एक ही है।
बताओ यहाँ फर्क क्या तुमने देखा ?
खींची है कहाँ पर विभाजन की रेखा ?
बदन एक ही है , वजन एक ही है ,
हमारा - तुम्हारा वतन एक ही है।
सारे जहाँ से अच्छा हिन्दोस्ताँ हमारा
सारे जहाँ से अच्छा हिन्दोस्ताँ हमारा
हम बुलबुल हैं इसकी , यह गुलिस्ताँ हमारा
गुरबत में हो अगर हम , रहता है दिल वतन में
समझो वही हमें भी , दिल हो जहाँ हमारा
पर्वत वो सबसे ऊँचा , हमसाया आसमाँ का
वो संतरी हमारा , वो पासवाँ हमारा
गोदी में खेलती हैं इसकी हजारों नदियाँ
गुलशन है जिनके दम से रश्के जिना हमारा
अय आब रुदे गंगा , वो दिन है याद तुझको
उतरा तेरे किनारे जब कारवाँ हमारा
मजहब नहीं सिखाता आपस में बैर रखना
हिन्दी हैं हम , वतन है हिन्दोस्ताँ हमारा
यूनानो मिश्र रूमां सब मिट गए जहाँ से
अब तक मगर है बाकी , नामो निशाँ हमारा
कुछ बात है कि हस्ती मिटती नहीं हमारी
सदियों रहा है दुश्मन दौरे माँ हमारा
'इकबाल' कोई मरहम अपना नहीं जहाँ में
मालूम क्या किसी को दर्दे निहाँ हमारा
.
आपकी राय
इस पोस्ट से सम्बंधित कोई सुझाव या सलाह है तो कमेंट के माध्यम से बता सकते है जिससे हम और अच्छा करने की कोशिश करेंगे।
हमारे ब्लॉग पर आने के लिये आपका बहुत बहुत धन्यवाद।इसी तरह हमारा मनोबल बढाते रहिये !